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स्कूली बच्चों ने सीखा – “प्रकृति से प्रेम करो, तभी धरती सुरक्षित रहेगी”

नोवा नेचर वेलफेयर सोसाइटी, WWF इंडिया एवं कोरबा वन मंडल के संयुक्त तत्वावधान में हुआ आयोजन

छत्तीसगढ़/कोरबा :- वन्यप्राणी संरक्षण सप्ताह (Wildlife Week) के अवसर पर कोरबा जिले में जागरूकता और शिक्षा का संगम देखने को मिला। सेंट जेवियर स्कूल एवं न्यू ऐरा पब्लिक स्कूल में आयोजित विशेष कार्यक्रम में विद्यार्थियों ने न केवल वन्यजीव संरक्षण का महत्व जाना बल्कि प्रकृति संरक्षण की दिशा में अपनी भूमिका निभाने का संकल्प भी लिया।कार्यक्रम का आयोजन नोवा नेचर वेलफेयर सोसाइटी द्वारा WWF इंडिया एवं कोरबा वन मंडल के सहयोग से किया गया।

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मुख्य अतिथियों का संदेश

सेंट जेवियर स्कूल में कार्यक्रम के मुख्य अतिथि श्री आशिष खेलेवार (उप वनमण्डलाधिकारी, कोरबा) ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा —

“वन्य जीव केवल जंगल की शोभा नहीं, बल्कि पृथ्वी के पारिस्थितिक संतुलन के रक्षक हैं। यदि हम पर्यावरण की रक्षा करेंगे, तभी जीवन का अस्तित्व सुरक्षित रहेगा।”

वहीं न्यू ऐरा पब्लिक स्कूल के कार्यक्रम में मुख्य अतिथि श्रीमति तोषी वर्मा (उप वनमण्डलाधिकारी, कोरबा) ने कहा —

“हर विद्यार्थी को चाहिए कि वह पर्यावरण की रक्षा को अपनी दिनचर्या का हिस्सा बनाए। छोटी-छोटी पहल भी बड़ा बदलाव ला सकती हैं।”

 प्रकृति संरक्षण का संदेश

नोवा नेचर वेलफेयर सोसाइटी के अध्यक्ष श्री एम. सूरज ने बताया कि संस्था द्वारा बाघ, वन भैंसा, मानव-हाथी द्वंद्व और किंग कोबरा संरक्षण जैसे अभियानों पर सतत कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा —

“प्रकृति और जीव-जंतुओं का संरक्षण भविष्य की पीढ़ियों के लिए सबसे बड़ी जिम्मेदारी है।”

कार्यक्रम में कलिंगा यूनिवर्सिटी, रायपुर से आए डॉ. फैज़ बॉक्स ने जैव विविधता और आर्द्रभूमियों के महत्व पर प्रेरक प्रस्तुति दी। उन्होंने बताया कि —

“आर्द्रभूमियाँ पृथ्वी की ‘किडनी’ कहलाती हैं क्योंकि ये जल को शुद्ध करती हैं, भूजल का संरक्षण करती हैं और असंख्य जीवों का घर होती हैं।”

 वन्यजीव संरक्षण सप्ताह के उद्देश्य

1️⃣ बच्चों में वन्य जीवों और उनके संरक्षण के प्रति जागरूकता बढ़ाना।
2️⃣ पर्यावरणीय संतुलन बनाए रखने में वन्य जीवों की भूमिका को समझाना।
3️⃣ अवैध शिकार और वनों की कटाई जैसी गतिविधियों के दुष्परिणामों से समाज को अवगत कराना।
4️⃣ नई पीढ़ी में प्रकृति प्रेम और संरक्षण की भावना विकसित करना।
5️⃣ जैव विविधता एवं प्राकृतिक संसाधनों के सतत उपयोग को बढ़ावा देना।

 सहभागिता और समापन

कार्यक्रम में सेंट जेवियर स्कूल के प्राचार्य डॉ. डी.के. आनंद, न्यू ऐरा स्कूल के प्रिंसिपल श्रीनिवासन राव, जितेंद्र सारथी, भूपेंद्र जगत, बबलू मारवा सहित बड़ी संख्या में शिक्षक व विद्यार्थी उपस्थित रहे। समापन पर विद्यालय प्रबंधन ने सभी अतिथियों का आभार व्यक्त किया और विद्यार्थियों को संदेश दिया  “प्रकृति से प्रेम करो, तभी धरती सुरक्षित रहेगी।”

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